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BPC न्यूज़ ब्यूरो – वैलेंटाइन डे नहीं, बहना संस्कार दिवस मनाए और 40 जवानों की शहादत को नमन करे: सुभाष बजरंगी

BPC News National Desk
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BPC न्यूज़ ब्यूरो

BPC न्यूज़ ब्यूरो – वैलेंटाइन डे नहीं, बहना संस्कार दिवस मनाए और 40 जवानों की शहादत को नमन करे: सुभाष बजरंगी

गाज़ियाबाद हमेशा चर्चाओं में रहने वाले सुभाष चन्द बजरंगी ने कहा कि वैलेंटाइन डे नहीं “बहना संस्कार दिवस” मनाए हमारे देश की संस्कृति में महिला शक्ति ज्यादा सशक्त है उन्हें मां बहन बेटी और धर्म पत्नी के तौर पर सम्मान मिलता है।

हम अपने देश की संस्कृति को भूलते जा रहे हैं बजरंगी ने इन शक्तियों से अनुरोध किया है कि इस दिन को वैलेंटाइन डे न मानकर इस दिन को बहना सरस्वती दिवस मना कर अपनी शिक्षा पर ज्यादा से ज्यादा ध्यान देना चाहिए।

अगर वैलेंटाइन डे गुलाब देने से मनाया जाता तो अपने माता पिता बहन भाई को दे मेरा उत्तर प्रदेश सरकार वह केंद्र सरकार से विनम्र अनुरोध है कि वैलेंटाइन डे मनाने पर रोक लगा देनी चाहिए।

हम सुभाष बजरंगी की टीम सार्वजनिक क्षेत्रों में तैनात रहेंगे और दृष्टि रखेंगे कि कोई भी बहन बेटी के साथ कोई फब्तियां करेगा या अश्लील हरकतें करते हुए दिखाई दिया तो पुलिस की मदद से ऐसे लोगों को कानूनी कार्रवाई कराने में सुभाष बजरंगी टीम अपनी अहम भूमिका निभाएगा।

जिससे देश की संस्कृति व संस्कृति की पहचान कायम रह सके अतः आपसे अनुरोध है कि पार्क एवं धार्मिक स्थल मॉल में विशेष सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस की तैनाती सुनिश्चित हो।

सुभाष चंद्र बजरंगी ने कहा की आज की युवा पीढ़ी को 14 फ़रवरी का दिन इसलिए भी याद करना चाहिए, इसी दिन देश के बहादुर 40 जवानों ने देश के लिए अपना सर्वोच्च बलिदान दिया था।

उस दुर्भाग्यपूर्ण दिन को एक आत्मघाती हमलावर ने पुलवामा में सीआरपीएफ के काफिले को निशाना बनाया, जिसके परिणामस्वरूप 40 बहादुर जवानों की दुखद मृत्यु हो गई। जब हमला हुआ तब 2,500 से अधिक जवानों को लेकर काफिला छुट्टी से लौट रहा था और तैनाती क्षेत्रों की ओर जा रहा था।

 

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BPC न्यूज़ ब्यूरो – वैलेंटाइन डे नहीं, बहना संस्कार दिवस मनाए और 40 जवानों की शहादत को नमन करे: सुभाष बजरंगीगाज़ियाबाद हमेशा चर्चाओं में रहने वाले सुभाष चन्द बजरंगी ने कहा कि वैलेंटाइन डे नहीं “बहना संस्कार दिवस” मनाए हमारे देश की संस्कृति में महिला शक्ति ज्यादा सशक्त है उन्हें मां बहन बेटी और धर्म पत्नी के तौर पर सम्मान मिलता है।हम अपने देश की संस्कृति को भूलते जा रहे हैं बजरंगी ने इन शक्तियों से अनुरोध किया है कि इस दिन को वैलेंटाइन डे न मानकर इस दिन को बहना सरस्वती दिवस मना कर अपनी शिक्षा पर ज्यादा से ज्यादा ध्यान देना चाहिए।अगर वैलेंटाइन डे गुलाब देने से मनाया जाता तो अपने माता पिता बहन भाई को दे मेरा उत्तर प्रदेश सरकार वह केंद्र सरकार से विनम्र अनुरोध है कि वैलेंटाइन डे मनाने पर रोक लगा देनी चाहिए। हम सुभाष बजरंगी की टीम सार्वजनिक क्षेत्रों में तैनात रहेंगे और दृष्टि रखेंगे कि कोई भी बहन बेटी के साथ कोई फब्तियां करेगा या अश्लील हरकतें करते हुए दिखाई दिया तो पुलिस की मदद से ऐसे लोगों को कानूनी कार्रवाई कराने में सुभाष बजरंगी टीम अपनी अहम भूमिका निभाएगा।जिससे देश की संस्कृति व संस्कृति की पहचान कायम रह सके अतः आपसे अनुरोध है कि पार्क एवं धार्मिक स्थल मॉल में विशेष सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस की तैनाती सुनिश्चित हो।सुभाष चंद्र बजरंगी ने कहा की आज की युवा पीढ़ी को 14 फ़रवरी का दिन इसलिए भी याद करना चाहिए, इसी दिन देश के बहादुर 40 जवानों ने देश के लिए अपना सर्वोच्च बलिदान दिया था।उस दुर्भाग्यपूर्ण दिन को एक आत्मघाती हमलावर ने पुलवामा में सीआरपीएफ के काफिले को निशाना बनाया, जिसके परिणामस्वरूप 40 बहादुर जवानों की दुखद मृत्यु हो गई। जब हमला हुआ तब 2,500 से अधिक जवानों को लेकर काफिला छुट्टी से लौट रहा था और तैनाती क्षेत्रों की ओर जा रहा था।बता दें कि 14 फरवरी 2019 वो दिन था जब आतंकी हमले में सीआरपीएफ के 44 जवान शहीद हो गए थे। इस घटना को आज 5 साल हो गए। जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर भारतीय सेना के जवानों को ले जा रहे वाहनों के काफिले पर एक आत्मघाती हमलावर ने हमला किया। जिसमें 400जवान शहीद हो गए। भारत ने कड़े कदम उठाकर पुलवामा हमले का बदला लिया था और हमारे देश के वीर जवानों ने इस हमले का जवाब बालाकोट सर्जिकल स्ट्राइक के रूप में दिया था। पुलवामा हमले में शहीद हुए जवानों को देश आज भी श्रद्धांजलि देता है

बता दें कि 14 फरवरी 2019 वो दिन था जब आतंकी हमले में सीआरपीएफ के 44 जवान शहीद हो गए थे। इस घटना को आज 5 साल हो गए। जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर भारतीय सेना के जवानों को ले जा रहे वाहनों के काफिले पर एक आत्मघाती हमलावर ने हमला किया। जिसमें 400जवान शहीद हो गए।

भारत ने कड़े कदम उठाकर पुलवामा हमले का बदला लिया था और हमारे देश के वीर जवानों ने इस हमले का जवाब बालाकोट सर्जिकल स्ट्राइक के रूप में दिया था। पुलवामा हमले में शहीद हुए जवानों को देश आज भी श्रद्धांजलि देता है

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