गाज़ियाबाद पुलिस का गज़ब कारनामा – युवक की हत्या के 20 दिन बाद भी नहीं लिखी रिपोर्ट ।
“मृतक के भाई ने कहा- दबंग और गुंडे किस्म है आरोपी, पुलिस और नेताओं का भी है संरक्षण”
मृतक का फाइल फोटो

गाजियाबाद। हत्या के एक मामले में थाना नन्दग्राम पुलिस ने लापरवाही की सभी हदें पार कर दी हैं। युवक की हत्या के 20 दिन बाद भी थाना नंदग्राम पुलिस ने एफआईआर दर्ज नहीं की है। मृतक के परिवारजनों को थाना प्रभारी कार्यवाही के नाम पर ठेंगा दिखा रहे हैं।
एफआईआर ना दर्ज करके मृतक के परिवारजनों को इधर उधर की बातें बताकर बरगला देते हैं। मृतक का परिवार थाने और चौकी के चक्कर काट काट कर परेशान है। वहीं दूसरी ओर आरोपी खुले आम घूम रहे हैं और लगातार पीड़ित परिवार को डरा धमका कर समझौता करने का दबाव बनाने का प्रयास कर रहे हैं। मामला थाना नंदग्राम क्षेत्र के गांव अटौर का है।
बता दें कि गुरुवार को मृतक का भाई मुकेश अपने परिवार सहित नंदग्राम थाने पहुंचा तो एक बार फिर से थाना प्रभारी ने उन्हें यह कहकर टरका दिया की जांच चल रही है जांच होने के बाद अगर आरोप सही पाए जाते हैं तो एफआईआर लिखी जायेगी।
वहीं हमारे संवाददाता से पूरी घटना की जानकारी देते हुए मृतक के भाई ने बताया कि 20 दिन पहले 21 मई 2024 दिन मंगलवार को राहुल, रवि उर्फ विश्राम और धर्मेंद्र ने उनके भाई टेमवीर को गांव अटौर की पानी की टंकी के पास बुलाकर उसे अपने साथ भोपुरा ठेके पर ले जाकर पहले शराब पिलाई उसके बाद उन्होंने टेमवीर के साथ गाली-गलौज व मारपीट की और तीनों ने मिलकर टेमवीर को मोरटा चौकी में पकड़वा दिया था।
इसके बाद उनका आपसी फैसला हो गया था लेकिन उसी दिन रात को तीनों ने साज करके टेमवीर को धर्मेंद्र के घर बुलाकर उसे फिर से शराब पिलाई और तीनों ने मिलकर बुरी तरीके से टेमवीर के साथ जान से मारने की नीयत से मारपीट की और उसे अधमरा कर दिया।
रात को ही धर्मेंद्र की मां कृष्णा देवी ने हमारे घर पहुंच कर बताया कि टेमवीर नशे की हालत में उसके घर पड़ा है उसे उठा लाओ टेमवीर के बेटा मोहित व उसका दोस्त धर्मेंद्र के घर गया और बेहोशी की हालत में ही अपने पिता को घर ले आया रात्रि का समय होने के कारण बच्चों ने टेमवीर को लगी चोटें आदि का ध्यान नहीं दिया अगले दिन सुबह देखा तो टेमवीर मृत अवस्था में पड़ा हुआ था उसके मुंह से खून निकला हुआ था और शरीर पर चोट के निशान भी थे।
इसकी सूचना 112 पर कॉल कर पुलिस को दी गई और सारी घटना की जानकारी दी। पुलिस ने टेमवीर के शव का मुआयना कर उसे पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। उसी दिन मृतक के भाई ने घटना की सूचना लिखित में थाना नंदग्राम पुलिस को भी दी लेकिन आज तक इस मामले में ना तो कोई एफआईआर हुई है और ना ही किसी प्रकार की कोई कार्रवाई पुलिस द्वारा की गई है।

मृतक के भाई ने बताया कि पुलिस को बार-बार कहने पर भी आज तक हमें पोस्टमार्टम की कॉपी तक नहीं दी गई है। मृतक के परिवार वालों ने पुलिस पर विपक्षियों से मिले होने के भी आरोप लगाया है मृतक के परिवार वालों का कहना है कि आरोपी दबंग प्रवृत्ति के व्यक्ति हैं उन्हें पुलिस प्रशासन एवं नेताओं का भी संरक्षण प्राप्त है जिस कारण लगातार हमें डराया धमकाया जा रहा है और हमारे ऊपर समझौता करने का भी दबाव बनाया जा रहा है व पुलिस जानबूझकर विपक्षियों पर कार्यवाही नहीं कर रही है।
मृतक के भाई ने नंदग्राम पुलिस पर पैसे लेकर आरोपियों के साथ मिले होने का भी आरोप लगाया है।
वहीं इस मामले में जब थाना प्रभारी थाना नंदग्राम से बात की गई तो उन्होंने फिर से हमारे संवाददाता से यही कहा कि पहले जांच की जायेगी फिर रिपोर्ट लिखी जायेगी। वहीं पुलिस की इस घोर लापरवाही की शिकायत एसीपी रवि कुमार से की गयी है। इससे पहले भी मृतक के परिवारजनों ने पुलिस आयुक्त से लेकर सीएम योगी तक को पत्र लिखकर कार्यवाही की मांग की है।

अब इस मामले में पुलिस क्या कार्यवाही करती है यह देखने वाली बात होगी। हालांकि इस पूरे मामले में थाना नंदग्राम पुलिस की लापरवाही साफ दिख रही है। लेकिन यहां बड़ा सवाल यह है कि हत्या जैसे घोर अपराध में आज तक पुलिस ने एफआईआर दर्ज क्यों नहीं की है? क्या वाकई पुलिस आरोपियों के साथ मिली हुई है या फिर किसी राजनैतिक दबाव के चलते पुलिस आरोपियों के ऊपर कार्यवाही करने से बच रही है?
देखने वाली बात यह भी है कि क्या सीएम योगी के राज में मृतक के परिवारजनों को न्याय मिल पायेगा? या फिर राम राज्य की बड़ी-बड़ी बातें करने वाली भाजपा के शासन काल में न्याय की सभी बातें केवल ढकोसला साबित होंगी ?










